22 जुलाई से शुरू होने वाली कांवड़ यात्रा को लेकर मुजफ्फरनगर पुलिस ने आदेश जारी किया है, जिसमें यह बताया गया है कि कांवड़ यात्रा मार्ग पर जो भी दुकानें हैं, उन सभी दुकानों के बाहर दुकान के मालिक का नाम लिखा होना चाहिए, जिससे कि वहां आए कांवड यात्रियों को कोई परेशानी न हो।
इस आदेश के आते ही इस पर तरह-तरह की राजनीति भी शुरू हो गई है। AIMIM अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी इस पर सवाल खड़े कर रहे हैं। ओवैसी ने X पर एक पोस्ट करते हुए लिखा है कि यूपी पुलिस के आदेश के अनुसार अब हर खाने वाली दुकान या ठेले के मालिक को अपना नाम बोर्ड पर लगाना होगा ताकि कोई कांवड़िया गलती से मुसलमान की दुकान से कुछ न खरीद ले। इसे दक्षिण अफ्रीका में अपारथाइड कहा जाता था और हिटलर की जर्मनी में इसका नाम ‘जूडेनबॉयकॉट’ था।
वहीं, सपा मुखिया अखिलेश यादव ने भी इस आदेश पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि जिस किसी का नाम मुन्ना, गुड्डू फत्ते या फिर छोटू हैं, उसके नाम से यह कैसे पता चलेगा कि कौन किस धर्म का है। ऐसे में अदालत को इस पूरे मामले की जांच करनी चाहिए। इस तरह के आदेश शांतिपूर्ण वातावरण को बिगाड़ने का काम करते हैं। इतना ही नहीं अखिलेश यादव ने आगे कहा कि इस आदेश से पता चलता है कि मुजफ्फरनगर पुलिस की नीयत सही नहीं है।
गीतकार जावेद अख्तर ने इस आदेश पर सवाल उठाते हुए कहा है कि मुजफ्फरनगर पुलिस ने यह आदेश दिया कि कांवड़ यात्रा के रूट पर सभी दुकानदार, रेस्टोरेंट के मालिक और वाहनों के मालिक अपना नाम स्पष्ट लिखवाएं क्यों? नाजी ने जर्मनी में भी ऐसा ही किया गया था।
TMC राज्यसभा सांसद गोखले ने भी मुजफ्फरनगर की पुलिस के खिलाफ ये NHRC में मामला दर्ज कराया। कहा कि SSP मुजफ्फरनगर का तर्क न ही केवल मूर्खतापूर्ण है बेशर्मी भी है, साथ ही NHRC से यह अनुरोध किया कि वह SSP मुजफ्फरनगर को तुरंत आदेश वापस लेने का निर्देश दे।
बता दें, एसएसपी अभिषेक सिंह के मुताबिक, लाखों कांवड़ियां हरिद्वार से जल लेकर मुजफ्फरनगर से होकर ही कांवड़ यात्रा के लिए जाते हैं। ऐसे में बघरा के योग साधना केंद्र के संस्थापक स्वामी यशवीर आश्रम महाराज ने ये संकेत दिया कि अगर कांवड़ रास्ते में पड़ने वाले मुस्लिम होटल के मालिकों ने होटल के बाहर अपना नाम नहीं लिखा तो हम विरोध करेंगे। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि यह मुस्लमान हिंदू देवी देवताओं के नाम पर होटल खोले हुए हैं, जिससे कि कांवड़ यात्रा में आने वाले श्रद्धालु भ्रमित हो जाते हैं।