Bharat Bandh 2024: सुप्रीम कोर्ट के अनुसूचित जाति (SC) और जनजाति (ST) आरक्षण में क्रीमीलेयर के फैसले के खिलाफ बुधवार को कई संगठनों ने भारत बंद का एलान किया है। भारत बंद का समर्थन बसपा और आरजेडी जैसी पार्टियों ने भी किया है।
दलित और आदिवासी संगठनों के राष्ट्रीय परिसंघ (NACDAOR) ने अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए न्याय और समानता सहित मांगों की एक लिस्ट जारी करते हुए भारत बंद की घोषणा की है।
ये हैं NACDAOR की मांगे
- नेशनल कन्फेडरेशन ऑफ दलित एंड आदिवासी ऑर्गेनाइजेशन (NACDAOR) ने कोटे के अंदर कोटे को लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ विरोध जताया है। साथ ही मांगों की एक लिस्ट भी जारी की है, जिसमें अनुसूचित जातियों (एससी), अनुसूचित जनजातियों (एसटी) और अन्य पिछड़े वर्गों (ओबीसी) के लिए न्याय और समानता की मांग की गई है।
- संगठन SC, ST और OBC के लिए आरक्षण पर संसद के एक नए अधिनियम के अधिनियमन की भी मांग कर रहा है, जिसे संविधान की नौवीं अनुसूची में शामिल करके संरक्षित किया जाएगा।
- NACDAOR ने सरकारी सेवाओं में SC/ST/OBC कर्मचारियों के जाति-आधारित डेटा को तत्काल जारी करने की भी मांग की है, ताकि उनका सटीक प्रतिनिधित्व सुनिश्चित किया जा सके।
- समाज के सभी वर्गों से न्यायिक अधिकारियों और न्यायाधीशों की भर्ती के लिए एक भारतीय न्यायिक सेवा की स्थापना हो, जिसका लक्ष्य हायर ज्यूडिशियरी में SC, ST और OBC श्रेणियों से 50 फीसदी प्रतिनिधित्व लेना हो।
क्या है भारत बंद (Bharat Bandh) का कारण?
हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम फैसला दिया था, जिसमें अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के लोगों के बीच में ही अलग-अलग श्रेणियां बनाने की राज्य सरकारों को मंजूरी दी थी। साथ ही कोर्ट ने कहा था कि आरक्षण का सबसे अधिक फायदा जरूरतमंदों को मिलना चाहिए।
कोर्ट के इसी फैसले से नाराज होकर दलित और आदिवासी संगठनों के राष्ट्रीय परिसंघ (NACDAOR) ने भारत बंद की घोषणा की है। कोर्ट के इस फैसले को दलित और आदिवासियों के संवैधानिक अधिकारों के खिलाफ बताया गया था। साथ ही लोग इस फैसले को वापस लेने की मांग कर रहे हैं।
SC/ST आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ भारत बंद को BSP का समर्थन
इन राजनीतिक पार्टियों ने भारत बंद का किया समर्थन
देश की कई राजनीतिक पार्टियों ने बुधवार को किए जा रहे भारत बंद का समर्थन किया है। इनमें बसपा, आरजेडी जैसी पार्टियों का नाम शामिल है। चिराग पासवान की पार्टी ने भी भारत बंद को समर्थन दिया है।
जीतन राम मांझी और उनकी पार्टी ने कहा है कि वह बंद के खिलाफ हैं और इसका समर्थन नहीं करते हैं। भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर का भी बंद को समर्थन मिल रहा है। साथ ही कांग्रेस समेत कुछ पार्टियों के नेता भी समर्थन में हैं।
राजस्थान के इन जिलों में छुट्टी
भारत बंद को देखते हुए जयपुर, दौसा, भरतपुर, गंगापुर सिटी, डीग समेत पांच जिलों के स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी गई है। इसके अलावा, गुड़गांव, झुंझुनू और सवाईमाधोपुर जिले में भी स्कूलों में छुट्टी कर दी गई है।
कोटे में कोटा वाले फैसले की वापसी की मांग
NACDAOR ने मांग की है कि सुप्रीम कोर्ट कोटे में कोटा वाले फैसले को वापस ले या पुनर्विचार करे। बता दें कि कोर्ट ने अपने फैसले में कहा था कि सरकार एससी के भीतर किसी एक जाति को 100% कोटा नहीं दे सकतीं। एससी में शामिल किसी जाति का कोटा तय करने से पहले उसकी हिस्सेदारी का पुख्ता डेटा होना चाहिए।
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क्या बंद रहेगा और क्या खुलेगा?
भारत बंद (Bharat Bandh) को लेकर कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है। इसलिए उम्मीद की जा रही है कि बस कुछ जगहों पर ही सार्वजनिक परिवहन प्रभावित देखने को मिल सकता है।
आपातकालीन सेवाएं जैसे कि अस्पताल, एम्बुलेंस और चिकित्सा सुविधाएं चालू रहेंगी। बैंकों और सरकारी दफ्तरों को बंद करने को लेकर सरकार की ओर से कोई सूचना नहीं दी गई है, तो ये भी खुले रहेंगे। शिक्षण संस्थान भी खुले रहेंगे।