अयोध्या में हुई भाजपा की हार के बाद सरकार ने 5 बड़े बदलाव किए हैं। लोगों की नाराजगी भी सामने आई है, जिस कारण सरकार और प्रशासन पूरे एक्शन में है। अयोध्या के लोगों की गाड़िया अब शहर में बिना रोक टोक के आ जा सकेंगी। जी हां वीआईपी क्लचर को खत्म करने के साथ ही पुराने मंदिरों को नहीं तोड़ने का फैसला लिया गया है।
जानें अयोध्या में हुए बड़े बदलाव
- फ्लाई ओवर नहीं बनेगा- आवासीय योजना के तहत पुराने मंदिरों को अब नहीं तोड़ा जाएगा। अयोध्या विकास योजना में आबादी वाले क्षेत्रों को भी नहीं तोड़ने का फैसला किया गया है। पहले आवास विकास प्राधिकरण की ओर से 264.26 करोड़ रुपये से 6 किमी लंबा फ्लाई ओवर बनना था, जिसकी जगह पर लखनऊ में हुई बोर्ड मीटिंग में 3 नए अंडर पास बनाने का निर्णय लिया गया है।
- 2. 41 गांव को डेवलप किया जाएगा- अयोध्या नगर निगम में 41 गांव 2020 में शामिल हुए लेकिन उन्हें कभी डेवलप नहीं किया गया। 4 सालों में कुछ सड़कों को छोड़कर यहां अभी तक कोई विकास नहीं हुआ है। नगर निगम की ओर से सभी गांवों में जल्दी GIS का सर्वे कराया जाएगा और साथ ही हर घर में शुद्ध जल को पहुंचाने की शुरुआत की जाएगी। सभी गांवो को नगरीय बनाने का कार्य में तेजी आ गई है।
- शहर में एंट्री कर सकेंगे अयोध्या के लोग- अयोध्यावासियों को प्राण प्रतिष्ठा के 6 महीने बाद राहत की सांस मिली है। अयोध्या के वाहनों (UP-42) को शहर के अन्दर आने से अब नहीं रोका जाएगा। रामनगरी के लोगों को अपना पहचान पत्र पहले बैरियर पॉइंट पर दिखाना होगा। साथ ही साकेत पेट्रोल पंप से पर्यटक अब लता मंगेशकर चौक और नया घाट पर वाहनों को ले जा सकेंगे।
- एयरोसिटी का 7 गांव के किसान कर रहे थे विरोध- एयरोसिटी बनाने की पूरी जिम्मेदारी अयोध्या विकास प्राधिकरण के पास ही थी। आवासीय कॉलोनी के लिए 150 एकड़ जमीन का अधिग्रहण भी होना था, लेकिन बीकापुर के 7-8 गांव के किसानों ने इसका बहुत विरोध किया था। ऐसे में अभ 20 जून को अयोध्या विकास प्राधिकरण की बोर्ड मीटिंग में इस प्रस्ताव को भी स्थगित कर दिया गया।
- जिन दुकानदारों को हटाया ,उन्हें 30% छूट बिना ब्याज दुकानों का आवंटन -अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण के साथ ही अयोध्या की खूबसूरती के लिए कई दुकानदारों को हटाया गया। लेकिन 20 जून को विकास प्राधिकरण की बोर्ड मीटिंग में दुकानों की लागत में 30% की कटौती की गई है,और इसके साथ ही राम पथ और निर्माण में विस्थापित हुए 80 दुकानदारों को उनकी चाबी सौंप दी गई है और 20 दुकानदारों को साल का ब्याज मुक्त कराकर किस्त पर दुकानें आवंटित कराने का ऐलान किया गया है। अभी तक जिन लोगों के दुकानों का आवंटन नहीं हुआ है। उन लोगों से प्रशासन बार बार संपर्क कर रही है।